ब्यूरो | मार्च 9, 2025
चंदौली। रेलवे में भ्रष्टाचार के खिलाफ CBI की सख्त कार्रवाई जारी है। लोको पायलट और अन्य अधिकारियों-कर्मचारियों की गिरफ्तारी के बाद अब उनके बैंक खातों और संपत्तियों की गहन जांच की जा रही है। CBI की टीम ने शनिवार को पंडित दीनदयाल उपाध्याय (पीडीडीयू) रेल मंडल के अधिकारियों और कर्मचारियों के वेतन खातों के स्टेटमेंट निकाले और कई महत्वपूर्ण दस्तावेज जुटाए।

बैंक खातों की गहन पड़ताल, करोड़ों की हेराफेरी उजागर
जांच में सामने आया कि गिरफ्तार वरीय मंडल विद्युत अभियंता (परिचालन) सुशांत पराशर ने पिछले छह महीने से अपने वेतन खाते से एक भी पैसा नहीं निकाला था। यह काली कमाई छिपाने की रणनीति हो सकती है। CBI ने अन्य अधिकारियों और कर्मियों के खातों में लेन-देन का भी ब्योरा खंगालना शुरू कर दिया है।
सर्विस रिकॉर्ड खंगाले, भ्रष्ट अधिकारियों की सूची तैयार
CBI ने रेल मंडल के अधिकारियों और कर्मचारियों के सर्विस रिकॉर्ड की जांच शुरू की है। टीम ने यह पता लगाया कि किनकी नियुक्ति भर्ती बोर्ड से हुई और किन्हें मृतक आश्रित कोटे से नियुक्त किया गया था। साथ ही, कई अन्य भ्रष्ट अधिकारियों-कर्मचारियों की सूची भी तैयार की जा रही है। उनकी संपत्तियों, बैंक खातों और लेन-देन का विस्तृत आकलन किया जाएगा।
CBI कार्रवाई के बाद रेलवे में हलचल, ट्रांसफर-पोस्टिंग की अटकलें
CBI की छापेमारी के बाद रेलवे में बड़े पैमाने पर अफसरों और कर्मियों के ट्रांसफर-पोस्टिंग की चर्चा तेज हो गई है। कई वरिष्ठ अधिकारियों के कार्यभार ग्रहण करने को लेकर अटकलें लगाई जा रही हैं।
कैसे फूटा रेलवे परीक्षा घोटाला?
CBI ने बीते मंगलवार को पीडीडीयू रेल मंडल में चीफ लोको पायलट इंस्पेक्टर की परीक्षा से ठीक पहले दो शाखा प्रमुखों, 19 लोको पायलटों, चार कर्मचारियों और एक सेवानिवृत्त कर्मी को रिश्वतखोरी के आरोप में गिरफ्तार किया था। आरोप था कि परीक्षा पास कराने के लिए लोको पायलटों से मोटी रिश्वत वसूली जा रही थी।
गिरफ्तार अधिकारियों और कर्मचारियों के घर व कार्यालय से 1.17 करोड़ रुपये नकद बरामद किए गए। इसमें वरीय मंडल विद्युत अभियंता परिचालन सुशांत पराशर परीक्षा के प्रश्नपत्र तैयार करने में शामिल थे, जबकि वरीय मंडल कार्मिक अधिकारी सुरजीत कुमार परीक्षा संचालन की जिम्मेदारी संभाल रहे थे।
CBI की जांच जारी
CBI अब गिरफ्तार आरोपियों से जुड़े अन्य कर्मचारियों और अधिकारियों की भूमिका की जांच कर रही है। उनकी संपत्तियां, बैंक ट्रांजेक्शन, कॉल डिटेल रिकॉर्ड (CDR) और अन्य दस्तावेज खंगाले जा रहे हैं ताकि घोटाले के मास्टरमाइंड तक पहुंचा जा सके।
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