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मुख्यमंत्री धामी का यमुनोत्री धाम दौरा बना ऐतिहासिक, चारधाम यात्रा का भव्य शुभारंभ

  • लेखक की तस्वीर: ब्यूरो
    ब्यूरो
  • 1 मई
  • 2 मिनट पठन



उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने एक नया इतिहास रचते हुए यमुनोत्री धाम पहुंचने वाले राज्य गठन के बाद पहले मुख्यमंत्री होने का गौरव प्राप्त किया। इससे पहले वर्ष 1987 में अविभाजित उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री वीर बहादुर सिंह विषम परिस्थितियों में 13 किलोमीटर का पैदल सफर तय कर यहां पहुंचे थे। अब मुख्यमंत्री धामी का यह दौरा न सिर्फ प्रतीकात्मक महत्व रखता है, बल्कि इससे धाम क्षेत्र के सर्वांगीण विकास की नई उम्मीद भी जगी है।

यमुनोत्री की कठिन भौगोलिक स्थिति और सुरक्षा कारणों के चलते अब तक कोई भी मुख्यमंत्री यहां की यात्रा नहीं कर सका था। लेकिन इस बार अक्षय तृतीया के पावन अवसर पर चारधाम यात्रा की शुरुआत के साथ ही मुख्यमंत्री धामी ने मां यमुना मंदिर में पूजा-अर्चना की और देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम से पहली पूजा संपन्न कराई। धामी का हेलिकॉप्टर यमुनोत्री के गरूड़गंगा के समीप बने हेलिपैड पर उतरा, जिसके बाद उन्होंने लगभग 500 मीटर का पैदल रास्ता तय कर मंदिर तक पहुंचकर दर्शन किए।

स्थानीय लोगों, तीर्थ पुरोहितों और जनप्रतिनिधियों ने मुख्यमंत्री के आगमन पर विशेष उत्साह जताया और उम्मीद जताई कि अब यमुनोत्री क्षेत्र में आधारभूत संरचना और सुरक्षा के स्तर पर ठोस कार्य होंगे। पूर्व विधायक केदार सिंह रावत ने कहा कि सीएम ने यहां की परिस्थितियों को नजदीक से देखा और प्राथमिकता के साथ विकास कार्यों का आश्वासन दिया।

चारधाम यात्रा की शुरुआत के अवसर पर गंगोत्री धाम में भी श्रद्धा और भक्ति का माहौल देखने को मिला। मंगलवार को मां गंगा की भोग मूर्ति डोली में रवाना होकर भैरो घाटी में रात्रि विश्राम करने के बाद बुधवार को अक्षय तृतीया की सुबह गंगोत्री धाम पहुंची। पंचांग के अनुसार सुबह 10:30 बजे विधिवत पूजन के बाद मंदिर के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खोल दिए गए। अब छह माह तक गंगोत्री धाम में मां गंगा के दर्शन होंगे।

यमुनोत्री और गंगोत्री दोनों धामों में हजारों श्रद्धालुओं ने पहले दिन दर्शन किए। वहीं, सीएम धामी की उपस्थिति और उनके द्वारा की गई पूजा ने इस बार की यात्रा को विशेष बना दिया। हर्षिल स्थित सेना की बटालियन की ओर से हर वर्ष की तरह इस बार भी श्रद्धालुओं के लिए भंडारे का आयोजन किया गया, और हेलीकॉप्टर से तीर्थयात्रियों पर पुष्पवर्षा कर स्वागत किया गया।

मुख्यमंत्री की यह यात्रा धार्मिक आस्था के साथ-साथ क्षेत्रीय विकास और प्रशासनिक सक्रियता की नई पहल मानी जा रही है।

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